Haldwani:-नगर निगम हल्द्वानी की कार्यकारिणी बैठक में 19 प्रस्तावों को मंजूरी – पढ़े बड़ी ख़बर


हल्द्वानी-काठगोदाम – गुरुवार को नगर निगम सभागार हल्द्वानी में महापौर गजराज बिष्ट की अध्यक्षता में निगम की कार्यकारिणी की महत्वपूर्ण बैठक संपन्न हुई। बैठक में समिति के 12 पार्षदों की उपस्थिति में 19 प्रस्तावों पर चर्चा कर उन्हें सर्वसम्मति से स्वीकृति प्रदान की गई।
महापौर गजराज बिष्ट ने बताया कि नगर निगम क्षेत्र के समग्र विकास को लेकर वे प्रतिबद्ध हैं। पिछले छह माह के कार्यकाल में जनसामान्य द्वारा प्रस्तुत समस्याओं और सुझावों को प्राथमिकता देते हुए कार्यकारिणी के समक्ष लाया गया, जिनपर पार्षदों ने सहमति जताई।
बैठक में स्वीकृत मुख्य प्रस्ताव इस प्रकार रहे:
1.निगम की दुकानों के शिकमी और विरासतन नामांतरण पर विचार।
2.जीर्ण-शीर्ण दुकानों की मरम्मत को स्वीकृति।
3.दुकानों के प्रथम तल के निर्माण व आवंटन से संबंधित निर्णय।
4.पूर्व में बने प्रथम तल की दुकानों के आवंटन का प्रस्ताव।
5.निजी भूमि पर फूड कोर्ट और प्राइवेट पार्किंग की अनुमति हेतु आवेदन पर विचार।
6.किरायेदारों को दो माह की अतिरिक्त अवधि में किराया जमा करने की छूट।
7.किराया नामांतरण शुल्क में वृद्धि।
8.गांधी नगर में झटका मीट मार्केट के लिए दुकान निर्माण।
9.मंगल पड़ाव में वेंडिंग ज़ोन का निर्माण।
10.वर्कशॉप लाइन के पुराने गोदाम की जगह दुकानें बनाना।
11.छतरी चौराहे पर लाईब्रेरी व दुकान निर्माण।
12.बरेली रोड नवीन मंडी के सामने दुकान निर्माण।
13.तीनपानी क्षेत्र में ग्राम पंचायत भवन की जगह दुकानों का प्रस्ताव।
14.शहर में 3 स्थानों पर ईवी चार्जिंग स्टेशन बनाने का निर्णय।
15.शनि बाजार में फड़ व्यवसायियों के लिए चबूतरे।
16.कठघरिया चौराहे पर दुकानें एवं लेबर शेड का निर्माण।
17.स्वास्थ्य अनुभाग के फील्ड कर्मचारियों की बायोमेट्रिक उपस्थिति सुनिश्चित करना।
18.नगर निगम द्वारा जारी प्रमाणपत्रों हेतु यूजर चार्ज की रसीद अनिवार्य करना।
19.नैनीताल रोड जजी के पास आंचल मिल्क कैफे के निर्माण का प्रस्ताव।
बैठक में मौजूद रहे
पार्षद राजेन्द्र अग्रवाल, रवि वाल्मीकि, धीरज पाण्डेय, प्रेम बेलवाल, भागीरथी बिष्ट, प्रीति आर्य, मोहम्मद गुफरान, सुरेन्द्र मोहन नेगी, मनोज जोशी, संजय पाण्डेय, विद्या देवी, साथ ही नगर आयुक्त ऋचा सिंह, महेश पाठक, मोहम्मद शकील और जयंत कुमार।
यह बैठक शहर के विकास की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम माना जा रहा है, जिससे नागरिकों की मूलभूत सुविधाओं में सुधार की उम्मीद की जा रही है।


